दो ग्राम जीरा और दो ग्राम मिश्री दोनों को पीसकर लेने से रुका हुआ पेशाब खुल जाता है। दिन में तीन बार लें।
या गुर्दे की खराबी से यदि पेशाब बनना बन्द हो जाय तो मूली और मूली के पत्तों का रस ६० ग्राम (दो औंस) की मात्रा से पीने से वह फिर से बनने लगता है। इससे पेशाब की जलन और वेदना भी मिट जाती है।
या अरंड़ी का तेल (castor oil) पच्चीस से पचास ग्राम तक गर्म पानी में मिलाकर पीने से पन्द्रह-बीस मिनट में ही पेशाब खुल जाता है। जब हर प्रकार से हार जाएँ और किसी उपाय से मूत्र न उतरे तो यह प्रयोग अवश्य आजमाने लायक है।
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